Tuesday, March 29, 2022

पंचायत सहायक अभय यादव ने 20 किताबों से शुरू की लाइब्रेरी आज हैं 150 से अधिक किताबें

 

पंचायत सहायक अभय यादव ने

 20 किताबों से शुरू की लाइब्रेरी आज हैं 150 से अधिक किताबें     

 

        उत्तर प्रदेश राज्य के जिला हरदोई में एक विकास खंड है टोडरपुर, इसी विकास खंड में स्थित है ग्राम पंचायत आँझी। आज यह गाँव नव चयनित पंचायत सहायक अभय यादव और उजीता राठौर के प्रयासों से जाना जाने लगा है।

 


        किसी भी बड़ी मंजिल को प्राप्त करने के लिए यह आवश्यक नहीं है कि बहुत अधिक धन अथवा सामर्थ्य की आवश्यकता हो। यदि आप ऐसा सोच रहे हैं तो गलत है। बड़े से बड़े लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए सबसे महत्त्वपूर्ण कार्य उस लक्ष्य की प्राप्ति हेतु उठाया गया पहला कदम है और इसके बाद आप यदि निरन्तर उस ओर थोड़ा-थोड़ा प्रयास करते रहेंगें तो आप अवश्य ही लक्ष्य को प्राप्त कर लेंगें।

        पेशे से पंचायत सहायक अभय यादव का चयन गत वर्ष ही उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा चयनित पंचायत सहायक के रुप में हुआ है। शिक्षा में राजनीति विज्ञान से एम.ए. अभय यादव का बचपन से ही शिक्षा की ओर रुझान अधिक रहा है। अपने गाँव के लिए कुछ करने का स्वप्न बचपन से ही मन में था। ऐसे  में पंचायत सहायक के रूप में अपनी ग्राम पंचायत के लिए कुछ करने का मौका मिला तो यह मन को अधिक मजबूत करने वाला साबित हुआ। इसी बीच जब निकट के गाँव के बच्चों को पुस्तकों के लिए परेशान होते देखा तो मन में लाइब्रेरी खोलने की इच्छा शक्ति प्रबल हुई। लेकिन सोच लेने मात्र से ही सब कुछ संभव नहीं होता। पुस्कालय खोलने के लिए पुस्तकों की आवश्यकता थी। जिसके लिए धन की भी आवश्यकता महसूस हुई साथ ही स्थान भी तो महत्त्वपूर्ण है जहाँ सभी लोग सरलता से आ जा सकें। जहाँ क्षेत्र में निवास करने वाले विद्यार्थियों के पढ़ने की उचित व्यवस्था हो।

        ऐसे में ग्राम पंचायत औड़ेरी की पंचायत सहायक उजीता राठौर ने मनोबल बढ़ाते हुए पंचायत सचिवालय में ही पुस्कालय खोलने का सुझाव दिया। अब स्थान की समस्या का समाधान तो हो चूका था लेकिन असल समस्या अब पुस्तकों की थी कि कहाँ से आयेंगीं। ऐसे में दोनों ने अपनी ही पुस्तकों को ही पुस्तकालय में सार्वजानिक रूप से सभी के साथ साझा करने का निश्चय किया। 15 जनवरी 2022 को 20 किताबों के साथ शुरू किये गये पुस्तकालय में आज आपसी सहयोग से 150 से अधिक किताबें हैं और पढ़ने के लिए लोग भी आने लगें हैं।   

         अभय यादव और उजीता राठौर का यह प्रयास है कि दोनों मिलकर इस लाइब्रेरी को क्षेत्र की सबसे बड़ी लाइब्रेरी के रूप में स्थापित करें ताकि आस-पास के गाँव के पढ़ने वाले विद्यार्थियों को किताबों के लिये परेशान न होना पड़े।

 

- डॉ. प्रशान्त कुमार मिश्र

 

 

 

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